तृणमूल कांग्रेस सांसद नुसरत जहां ने संदेशखाली के निवासियों और विपक्षी नेताओं की उस आलोचना का जवाब दिया है जिसमें कहा गया था कि उन्होंने पिछले पांच वर्षों में क्षेत्र में कदम नहीं रखा है – यहां तक कि क्षेत्र में हालिया अशांति के बाद भी वो वहां नहीं गयीं। बशीरहाट सांसद ने एक पोस्ट में लिखा, “मैंने खुशी के समय और मुसीबत के समय – दोनों ही में अपने निर्वाचन क्षेत्र में लोगों की सच्ची सेवा की है और साथ ही उन्होनें कहा, “राजनीति करना बंद करो।”
जहां एक अखबार के लेख का जवाब दे रही थीं जिसमें संदेशखाली निवासियों के हवाले से कहा गया था कि उन्होंने सांसद के रूप में चुने जाने से पहले किए गए वादों को पूरा नहीं किया। लेख में संदेशखाली विधायक सुकुमार महतो का भी हवाला दिया गया था जिन्होंने कहा कि अगर नुसरत जहां संदेशखाली का दौरा करतीं तो टीएमसी पर लोगों का भरोसा मजबूत होता।
उत्तर 24 परगना जिले का यह गांव कई हफ्तों से विवाद के केंद्र में है। संदेशखाली की कई महिलाओं ने टीएमसी नेता शाहजहां शेख और उनके सहयोगियों के खिलाफ यौन उत्पीड़न और अवैध रूप से जमीन हड़पने के आरोप लगाए हैं।
https://x.com/nusratchirps/status/1761644455835423187?s=20
अखबार के लेख में, भाजपा सांसद दिलीप घोष ने “डॉग डे, चॉकलेट डे, वेलेंटाइन डे” मनाने के लिए नुसरत जहां की आलोचना की थी, जबकि संदेशखाली जल रहा था।
टीएमसी सांसद ने जवाब दिया, “इस तरह के आरोपों से दिल दहल जाता है। एक महिला के रूप में, एक जन प्रतिनिधि के रूप में मैंने हमेशा अपनी पार्टियों के दिशानिर्देशों का पालन किया है और लोगों की सेवा की है। (एसआईसी)”
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पहले ही मदद भेज चुकी हैं और लोगों का कल्याण सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक कदम उठाए जा रहे हैं।
बशीरहाट सांसद ने कहा, “हम कानून से ऊपर नहीं हैं…इसलिए इसका पालन करना और प्रशासन का समर्थन करना जरूरी है…मेरा मानना है कि हमें राज्य सरकार और प्रशासन पर भरोसा रखना चाहिए, जो गलत है उसकी हमेशा निंदा की जाएगी।”
जहां ने कहा कि लोगों को “एक दूसरे को निशाना बनाने से बचना चाहिए” और “शांति बनाने में मदद करने के लिए एक साथ आना चाहिए न कि हंगामा करना चाहिए”।
इस बीच पश्चिम बंगाल पुलिस ने संदेशखाली थाने में टीएमसी नेता शाहजहां शेख के भाई शेख शिराजुद्दीन के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है। पुलिस के अनुसार शिराजुद्दीन के खिलाफ ग्रामीणों ने जमीन हड़पने और अत्याचार के गंभीर आरोप लगाते हुए 100 से ज्यादा शिकायतें की हैं। अपने खिलाफ एफआईआर दर्ज होने के बाद आरोपी सिराज अपने भाई की तरह फरार हो गया है।
पश्चिम बंगाल पुलिस ने टीएमसी नेता अजीत मैती को भी गिरफ्तार कर लिया है। संदेशखाली के कुछ हिस्सों में अवैध भूमि हड़पने के आरोप में स्थानीय ग्रामीणों द्वारा उनका घेराव करने के बाद उन्हें रविवार शाम हिरासत में लिया गया था। जनता के आक्रोश के बीच टीएमसी ने उन्हें जोनल अध्यक्ष पद से भी हटा दिया था।
रविवार को एक फैक्ट फाइंडिंग समिति के छह सदस्यों की गिरफ्तारी के बाद, पश्चिम बंगाल के राज्यपाल सीवी आनंद बोस ने पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) से तत्काल रिपोर्ट मांगी है। संदेशखाली जाते समय पुलिस द्वारा गिरफ्तार और हिरासत में लिए गए फैक्ट फाइंडिंग समिति ने राज्यपाल से मुलाकात की और अवैध गिरफ्तारी और धमकी के खिलाफ अपना कड़ा विरोध व्यक्त किया था।
बता दें कि नुसरत जहां ने एक बार पहले भी इसी तरह का बयान दिया था जब उन्होंने कहा था कि संदेशखाली में अशांति का “राजनीतिकरण नहीं किया जाना चाहिए”।
गांव में कई दिनों के विरोध के बाद नुसरत जहां ने अपनी चुप्पी तोड़ते हुए कहा था, “ऐसी गंभीर स्थिति में, किसी को दूसरों को भड़काना या उकसाना नहीं चाहिए बल्कि एकजुट होकर राज्य प्रशासन का समर्थन करना चाहिए। राज्य सरकार वही कर रही है जो आवश्यक है, और अधिकारी स्थानीय लोगों की अथक मदद कर रहे हैं।” उन्होंने यह भी कहा था कि वह अधिकारियों के संपर्क में हैं।