दिल्ली शराब नीति मामले में प्रवर्तन निदेशालय की एक टीम ने बुधवार को आम आदमी पार्टी (आप) के राज्यसभा सांसद संजय सिंह के आवास पर तलाशी ली। इससे पहले मामले में सांसद के कई अन्य करीबी लोगों के परिसरों की भी तलाशी ली गई थी। सोशल मीडिया पर साझा किए गए एक वीडियो में जांच एजेंसी ईडी की एक टीम को दिल्ली में संजय सिंह के आवास पर दिखाया गया है।
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बता दें कि शराब नीति मामले में दायर आरोपपत्र में संजय सिंह का नाम था। तलाशी पर प्रतिक्रिया देते हुए संजय सिंह के पिता ने कहा, “विभाग अपना काम कर रहा है, हम उनके साथ सहयोग करेंगे। मैं उस समय का इंतजार करूंगा जब उन्हें मंजूरी मिलेगी।”
इस बीच, पार्टी ने आरोप लगाया कि जांच एजेंसी संसद में अडानी मामले को उठाने के लिए सिंह को ‘निशाना’ बना रही है।
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा, “पिछले एक साल से देख रहे हैं कि तथाकथित शराब घोटाले का शोर किया हुआ है लेकिन इनको एक भी पैसा नहीं मिला। करीब 1,000 से अधिक छापे मारे गए और कहीं से भी कोई रिकवरी नहीं हुई। कभी बोलते हैं कि क्लासरूम घोटाला हुआ, बसों की खरीद में घोटाला हुआ इन्होंने हर चीज़ में जांच करा ली। संजय सिंह के यहां भी कुछ नहीं मिलेगा। अगले साल चुनाव आ रहे हैं और इनको (भाजपा) लग रहा है कि यह हारने वाले हैं तो यह हारते हुए आदमी की हताश कोशिशें नज़र आ रही हैं।”
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दिल्ली सरकार में मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा, “यह ऐसा काल्पनिक घोटाला है जिसमें पिछले 15 महीने से छान-बीन चल रही है। कम से कम 1 हज़ार जगहों पर ED और CBI छापेमारी कर चुकी है लेकिन कहीं से भी 1 रुपया बरामद नहीं हुआ। भाजपा चुनाव हार रही है, यह सच्चाई है।”
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मंत्री गोपाल राय ने कहा, “पिछले 15 महिनों से ED, CBI की जांच, छापेमारी चल रही है। मेरे ख्याल से पूरे देश भर में 1,000 से अधिक छापेमारी हो चुकी है। कई लोगों को गिरफ्तार किया गया लेकिन आज तक एक चवन्नी नहीं मिली। यह इस बात का संकेत दे रहा है कि भाजपा और प्रधानमंत्री अगला चुनाव हार रहे हैं। सारी रिपोर्ट इसका संकेत दे रही हैं। हार की बौखलाहट है जिसमें आज संजय सिंह के यहां छापेमारी हो रही है। कल जिस तरह से पत्रकारों पर हुआ वह भी इसका संकेत दे रहा है कि किसी तरह से जो भी सत्ता के खिलाफ आवाज है उसको डरा-धमका कर छापे मारकर चुप करा दिया जाए। मुझे लगता है कि यह राजनीति लोकतंत्र के खिलाफ है। भाजपा को जनता पर भरोसा होना चाहिए। एजेंसियों का दुरुपयोग कर, लोगों की आवाज बंदकर आप चुनाव जीतेंगे ऐसा इतिहास कभी नहीं बताता।”
राजद सांसद मनोज झा ने कहा, “अब ये सिलसिला चुनाव तक चलेगा। PM मोदी और अमित शाह की टीम ने ये बता दिया है कि 2024 के चुनाव की आधिकारिक घोषणा हो चुकी है। कल न्यूजक्लिक के ठिकानों व तमाम पत्रकारों पर और आज संजय सिंह के आवास पर छापेमारी हो रही है। हांडी भर चुकी है, फूटने वाली है।”
शिवसेना (UBT) सांसद संजय राउत ने कहा, “संजय सिंह सांसद हैं और निर्भय पत्रकार रहे हैं। उनके घर में छापेमारी हो रही है। हमारे ऊपर छापेमारी होती है, महाराष्ट्र, पश्चिम बंगाल, छत्तीसगढ़, झारखंड में होती है लेकिन गुजरात, मध्य प्रदेश, असम और अन्य जहां उनकी (भाजपा) सरकार है उधर छापेमारी क्यों नहीं होती? अगर जानकारी चाहिए तो हम जानकारी देंगे कि किधर घपले हो रहे हैं। संजय सिंह के घर जिस तरह से छापेमारी चल रही है उससे मुझे लगता है कि यह तानाशाही की हद है।”
वहीं ED की छापेमारी को लेकर दिल्ली भाजपा अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने कहा, “दिल्ली के शराब घोटाले में AAP सांसद संजय सिंह के यहां आज जांच एजेंसी ने छापेमारी की है। इस मामले में दिल्ली CM अरविंद केजरीवाल और उनके कट्टर ईमानदार नेताओं के चेहरे बेकनाब होंगे। इन्होंने दिल्ली की जनता को लूटा है। चार्जशीट में पहले से संजय सिंह का नाम था।”
भाजपा नेता गौरव भाटिया ने कहा, “मैं चुनौती देता हूं कि अरविंद केजरीवाल आप तुरंत प्रेस वर्ता करें और आरोपी दिनेश आरोड़ा के दावों का खंडन करें जिसमें वह कह रहा है कि आपको 32 लाख रुपए दिए हैं। ऐसा क्यों हैं कि जिस मनीष सिसोदिया को आप कट्टर ईमानदार कहते हैं उन्हें 7.5 महीने से ज़मानत नहीं मिली और जेल में हैं। यह 10 सर वाला भ्रष्टाचारी रावण कौन है? इसलिए हम हमेशा कहते हैं कि ‘जैसे जैसे जुड़ रही है कड़ी, अरविंद केजरीवाल के पास आ रही है हथकड़ी’।”
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कांग्रेस नेता प्रमोद तिवारी ने कहा, “यह(BJP) सरकार तानाशाही रवैया अपनाकर जोर-जबरदस्ती, दमन, भय और आतंक का माहौल पत्रकारों के खिलाफ और उन नेताओं के खिलाफ कायम करना चाहती है जो विरोधी दल के है, विशेषकर जो INDIA गठबंधन से जुड़े हैं। जिस तरह संजय सिंह के यहां छापेमारी हो रही है वह निंदनीय है।”
JDU नेता नीरज कुमार ने कहा, “भाजपा पूरे देश में अपने राजनीतिक विरोधियों पर अपनी नीति और उपलब्धियों के बल पर मुकाबला नहीं कर रही है। यह स्पष्ट हो चुका है कि ED, CBI और IT ही इनके राजनीतिक हथियार हैं। इनका परेशान करना स्वाभाविक है, लेकिन परेशान करने की भी एक सीमा होती है। 2024 में जनता इन्हें परेशान करेगी।”
इस बीच दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के इस्तीफे की मांग को लेकर भाजपा कार्यकर्ताओं ने AAP कार्यालय के बाहर विरोध प्रदर्शन किया।
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ईडी के अनुसार संजय सिंह पर आरोप क्या है?
ईडी के आरोप पत्र के अनुसार, दिल्ली के व्यवसायी दिनेश अरोड़ा, जिन्हें दिल्ली शराब नीति घोटाला मामले में आरोपी के रूप में नामित किया गया था, ने पहले संजय सिंह की उपस्थिति में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल से उनके आवास पर मुलाकात की थी। एक बयान में अरोड़ा ने ईडी को बताया कि उनकी मुलाकात एक कार्यक्रम के दौरान संजय सिंह से हुई थी, जिसके बाद वह दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया के भी संपर्क में आए। सूत्रों ने बताया कि यह मुलाक़ात दिल्ली चुनाव से पहले धन जुटाने के लिए हुई थी।
ईडी की चार्जशीट के मुताबिक, “उनकी (दिनेश अरोड़ा) शुरुआत में संजय सिंह से मुलाकात हुई, जिनके माध्यम से वह अपने रेस्तरां, अनप्लग्ड कोर्टयार्ड में एक पार्टी के दौरान मनीष सिसोदिया के संपर्क में आए। संजय सिंह के अनुरोध पर, उन्होंने रेस्तरां के कई लोगों से बात की। मालिकों और दिल्ली में आगामी चुनावों के लिए पार्टी फंड इकट्ठा करने के लिए 32 लाख रुपये के चेक (सिसोदिया को सौंपे गए) की व्यवस्था की।”
जांच एजेंसी ने यह भी आरोप लगाया है कि संजय सिंह ने शराब विभाग के साथ दिनेश अरोड़ा के लंबे समय से लंबित मुद्दों में से एक का समाधान किया।
मंगलवार को दिल्ली की एक अदालत ने कथित दिल्ली शराब नीति घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में वाईएसआर कांग्रेस पार्टी के लोकसभा सांसद मगुंटा श्रीनिवासुलु रेड्डी के बेटे राघव मगुंटा और दिनेश अरोड़ा को सरकारी गवाह बनने की अनुमति दे दी। अरोड़ा को ईडी के साथ-साथ सीबीआई ने भी गिरफ्तार किया है।
दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना द्वारा कथित भ्रष्टाचार की सीबीआई जांच की सिफारिश के बाद शराब नीति को रद्द कर दिया गया था। ईडी और सीबीआई ने आरोप लगाया है कि 2021-22 के लिए दिल्ली सरकार की शराब नीति ने गुटबंदी की अनुमति दी और लाइसेंस के लिए रिश्वत देने वाले कुछ डीलरों का पक्ष लिया।