चीन ने पाकिस्तान स्थित लश्कर-ए-तैयबा के आतंकवादी साजिद मीर को वैश्विक आतंकवादी के रूप में नामित करने के लिए संयुक्त राष्ट्र में भारत और अमेरिका के एक प्रस्ताव को रोक दिया है। साजिद मीर 26/11 के मुंबई आतंकवादी हमलों में शामिल था। चीन ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की 1267 अल कायदा प्रतिबंध समिति के तहत वैश्विक आतंकवादी के रूप में मीर को काली सूची में डालने और उसकी संपत्ति जब्त करने, यात्रा प्रतिबंध और हथियार प्रतिबंध लगाने के लिए अमेरिका द्वारा पेश किए गए और भारत द्वारा सह-नामित किए गए प्रस्ताव को रोक दिया।
China blocks proposal by India, the US at the United Nations to designate Lashkar-e-Tayyiba terrorist Sajid Mir, wanted for his involvement in the 26/11 Mumbai terrorist attacks, as a global terrorist. pic.twitter.com/7zf4iscwte
— ANI (@ANI) June 20, 2023
यूएन में विदेश मंत्रालय के संयुक्त सचिव, प्रकाश गुप्ता ने इसे लेकर कहा, ‘मुंबई आतंकी हमलों के मास्टरमाइंड साजिद मीर को भारत, संयुक्त राज्य अमेरिका और कई अन्य देशों के राष्ट्रीय कानूनों के तहत एक प्रतिबंधित आतंकवादी के रूप में सूचीबद्ध किया गया था। लेकिन जब साजिद मीर को सूचीबद्ध करने का प्रस्ताव को सहमति नहीं मिली। इससे हमारे पास यह मानने के उचित कारण हैं कि वैश्विक आतंकवाद विरोधी ऑर्किटेक्चर में कुछ गलत है।’ उन्होंने यूएन में चीन के इस कदम पर टिप्पणी करते हुए कहा कि कुछ निजी हितों के चलते प्रयासों को रोका गया है।
#WATCH | "…If we cannot get established terrorists who have been proscribed across global landscapes listed under security council architecture for pure geopolitical interest, then we do not really have the genuine political will needed to sincerely fight this challenge of… pic.twitter.com/mcbw3bV13W
— ANI (@ANI) June 21, 2023
पिछले साल सितंबर में पता चला था कि चीन ने संयुक्त राष्ट्र में मीर को नामित करने के प्रस्ताव पर रोक लगा दी थी। ड्रैगन ने अब प्रस्ताव को रोक दिया है।
मीर भारत के सबसे वांछित आतंकवादियों में से एक है और 26/11 के मुंबई आतंकवादी हमलों में उसकी भूमिका के लिए अमेरिका द्वारा उसके सिर पर 5 मिलियन अमरीकी डालर का इनाम भी रखा गया है।
मुंबई आतंकवादी हमलों के मास्टरमाइंड साजिद मीर को पिछले साल गिरफ्तार किया था। लाहौर की एक एंटी टेररिज्म कोर्ट ने साजिद मीर को 15 साल की सजा सुनाई थी। आतंकवाद से जुड़े एक सीनियर वकील ने बताया था कि जून महीने की शुरुआत में लाहौर में एक आतंकवाद रोधी अदालत ने प्रतिबंधित लश्कर-ए-तैयबा के एक आतंकी साजिद मीर को 15 साल की सजा सुनाई है। न्यूज एजेंसी के मुताबिक, ये सजा टेरर फंडिंग केस में सुनाई गई थी।
पाकिस्तानी अधिकारियों ने पहले दावा किया था कि मीर की मृत्यु हो गई है, लेकिन पश्चिमी देशों ने इस दावे पर असहमति जताई थी और उसकी मृत्यु का प्रमाण मांगा था। पिछले साल के अंत में पाकिस्तान की प्रगति पर एफएटीएफ के आकलन में यह मुद्दा एक प्रमुख बाधा बन गया था।
मीर पाकिस्तान स्थित लश्कर का एक वरिष्ठ सदस्य है और नवंबर 2008 में मुंबई में हुए आतंकवादी हमलों में शामिल होने के लिए वांछित है।
अमेरिकी विदेश विभाग ने कहा है, “मीर हमलों के लिए लश्कर का संचालन प्रबंधक था, जो उनकी योजना, तैयारी और निष्पादन में अग्रणी भूमिका निभा रहा था।”
मालूम हो कि पाकिस्तान का सदाबहार दोस्त चीन ने बार-बार संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की प्रतिबंध समिति के तहत पाकिस्तान स्थित आतंकवादियों को ब्लैकलिस्ट करने के लिए लिस्टिंग पर रोक लगाई है।