राजनेता और सजायाफ्ता गैंगस्टर मुख्तार अंसारी का गुरुवार रात दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया। 63 वर्षीय अंसारी बांदा जेल में बंद था और आजीवन कारावास की सजा काट रहा था। अंसारी की मौत के बाद कई विपक्षी नेताओं ने उनकी मौत की उच्च स्तरीय जांच की मांग की है। कांग्रेस नेता सुरेंद्र राजपूत ने कहा कि जिस तरीके से आरोपी मुख्तार अंसारी की जेल में मौत हुई है वो उत्तर प्रदेश की भाजपा सरकार पर गंभीर प्रश्न खड़े करती है। इस घटना की उच्च स्तरीय जांच होनी चाहिए और हाई कोर्ट के जज की सुपरविजन में यह जांच होनी चाहिए।
समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव ने सोशल मीडिया एक्स पर लिखा कि हर हाल में और हर स्थान पर किसी के जीवन की रक्षा करना सरकार का सबसे पहला दायित्व और कर्तव्य होता है। सरकारों पर निम्नलिखित हालातों में से किसी भी हालात में, किसी बंधक या कैदी की मृत्यु होना, न्यायिक प्रक्रिया से लोगों का विश्वास उठा देगा। उन्होंने कहा कि थाने में बंद रहने के दौरान, जेल के अंदर आपसी झगड़े में, जेल के अंदर बीमार होने पर, न्यायालय ले जाते समय, अस्पताल ले जाते समय, अस्पताल में इलाज के दौरान, झूठी मुठभेड़ दिखाकर, झूठी आत्महत्या दिखाकर, किसी दुर्घटना में हताहत दिखाकर मौत के मामले आ रहे हैं। ऐसे सभी संदिग्ध मामलों में सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश की निगरानी में जांच होनी चाहिए। सरकार न्यायिक प्रक्रिया को दरकिनार कर जिस तरह दूसरे रास्ते अपनाती है वो पूरी तरह गैरकानूनी हैं। अखिलेश ने कहा कि जो हुकूमत जिंदगी की हिफाजत न कर पाए, उसे सत्ता में बने रहने का कोई हक नहीं। सपा अध्यक्ष ने आरोप लगाया कि यूपी ‘सरकारी अराजकता’ के सबसे बुरे दौर से गुजर रहा है। ये यूपी में ‘कानून- व्यवस्था का शून्यकाल है।
कांग्रेस नेता पप्पू यादव ने मुख्तार अंसारी की मौत को संवैधानिक व्यवस्था पर कलंक करार दिया। उन्होंने सोशल मीडिया एक्स पर किए गए पोस्ट में लिखा कि पूर्व विधायक मुख़्तार अंसारी की सांस्थानिक हत्या की गई। यह कानून, संविधान, नैसर्गिक न्याय को दफन कर देने जैसा है। सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश इसका स्वतः संज्ञान लें। उनके दिशा-निर्देश में निष्पक्ष जांच हो। पप्पू ने कहा कि कई दिन से वह आरोप लगा रहे थे कि उन्हें धीमा जहर दिया जा रहा है। उनके सांसद भाई ने भी यह आरोप लगाया गया था। देश की संवैधानिक व्यवस्था के लिए यह अमिट कलंक है।
राष्ट्रीय शोषित समाज पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व कैबिनेट मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य ने मुख्तार अंसारी की मौत पर कहा कि ये स्वाभाविक मौत नहीं हत्या की साजिश लगती है। पहले डॉक्टरों के पैनल ने अस्पताल से डिस्चार्ज किया और कुछ घंटों के बाद उसकी मौत हो गई। परिवार के आरोप हत्या की साजिश की पुष्टि करते हैं। पूरे मामले की जांच हाईकोर्ट की देखरेख में होनी चाहिए। पोस्टमार्टम भी हाईकोर्ट के जज की निगरानी में होना चाहिए, जिसे न्याय का गला घोंटने वालों का चेहरा बेनकाब हो सके और जेल और थानों में इस तरह की हत्याओं के फैशन पर विराम लग सके।
बिहार के पूर्व डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव ने मुख्तार अंसारी की मौत पर एक्स पर किए गए पोस्ट में लिखा कि यूपी से पूर्व विधायक मुख्तार अंसारी के इंतकाल का दुखद समाचार मिला। परवरदिगार से प्रार्थना है कि दिवंगत आत्मा को शांति तथा शोकाकुल परिजनों को दुख सहने की शक्ति प्रदान करें। कुछ दिन पूर्व उन्होंने शिकायत की थी कि उन्हें जेल में जहर दिया गया है, फिर भी गंभीरता से नहीं लिया गया। प्रथम दृष्टया ये न्यायोचित और मानवीय नहीं लगता। संवैधानिक संस्थाओं को ऐसे विचित्र मामलों और घटनाओं पर स्वत: संज्ञान लेना चाहिए।
पूर्व मंत्री और राजद विधायक तेज प्रताप यादव ने भी मुख्तार अंसारी के निधन पर शोक जताया है। उन्होंने एक्स पर पोस्ट किया कि यूपी के पूर्व विधायक मुख्तार अंसारी के इंतकाल का दुखद समाचार मिला। ईश्वर से प्रार्थना है कि दिवंगत आत्मा को शांति दे तथा शोकाकुल परिजनों को दुख सहने की शक्ति प्रदान करें।
कांग्रेस नेता और सहारनपुर लोकसभा उम्मीदवार इमरान मसूद ने कहा कि मुख्तार अंसारी की मौत बहुत दुखद है। मेरे साथ वह विधायक रहे। मेरे व्यक्तिगत रिश्ते उनके साथ थे। दिल का दौरा के बारे में नहीं पता है। उन्होंने अपनी हत्या की आशंका जताई थी। एक सप्ताह के भीतर मौत हो गई। यह संदेह के घेरे में खड़ा करती है। एक जीवित व्यक्ति ने कोर्ट में आवेदन आवेदन करता है कि उसे मारा जा रहा है। इसलिए संदेह है। उन्होंने कहा कि सबकी समझ में आ रहा है, क्या हो रहा है, क्या नहीं हो रहा है।
एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि मुख्तार अंसारी ने प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाए थे। सरकार ने उनकी बातों पर ध्यान नहीं दिया। अपने संदेश में ओवैसी ने कहा कि अल्लाह से दुआ है, मुख्तार की आत्मा को शांति प्रदान करे। उनके परिवार को सब्र-ए-जमील अदा करें। गाजीपुर ने अपने बेटे और भाई को खो दिया।
वहीं मुख्तार अंसारी के बेटे उमर अंसारी का कहना है कि मुझे पापा ने बताया था कि उनको धीमा जहर दिया जा रहा था। उनकी मौत के पीछे गहरी साजिश है। अब मुझे न्यायपालिका पर ही भरोसा है। मुख्तार का परिवार पहले से ही प्रशासन पर उसकी हत्या की प्लानिंग का आरोप लगाता रहा है। हाल ही में मुख्तार ने कोर्ट को एक चिट्ठी लिखी थी, जिसमें उन्होंने आरोप लगाया था कि उसे जेल में धीमा जहर दिया जा रहा है। मुख्तार ने चिट्ठी में कहा था कि 19 मार्च की रात मुझे खाने में विषाक्त पदार्थ दिया गया था, जिसके बाद से मेरी तबियत खराब हो गई।
अंसारी के भाई सिबगतुल्लाह अंसारी ने कहा कि मुख्तार बताता रहा कि उन्हें धीमा जहर दिया जा रहा है। लेकिन किसी ने कोई ध्यान नहीं दिया। ये सब साजिश से हुआ है। ये एक जघन्य घटना है। हमें ऊपर वाले पर भरोसा है कि वो बदला लेगा। अल्लाह सब देख रहा है। अल्लाह के घर देर है, अंधेर नहीं है। जेल में कोई सुरक्षित नहीं है। कोर्ट को संज्ञान लेकर घटना की जांच करनी चाहिए।
उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री और बसपा प्रमुख मायावती ने कहा कि मुख्तार अंसारी की जेल में हुई मौत को लेकर उनके परिवार द्वारा जो लगातार शंकाएं और गंभीर आरोप लगाए गए हैं, उनकी उच्चस्तरीय जांच जरूरी है ताकि उनकी मौत के सही तथ्य सामने आ सकें। ऐसे में उनके परिवार का दुखी होना स्वाभाविक है। कुदरत उन्हें इस दुख को सहन करने की शक्ति दे।
इस बीच कृष्णानंद राय की पत्नी अलका राय और बेटे पीयूष राय ने शुक्रवार को काशी विश्वनाथ मंदिर के दर्शन किए। इस दौरान अलका राय ने कहा कि हम बहुत खुश हैं। बाबा की कृपा है। महाराजा योगी जी का आशीर्वाद मिला है। ये भगवान का न्याय है। विपक्ष कुछ भी कह सकती है, कोई फर्क नहीं पड़ता। पंजाब की जेल में रहकर वह अपराध करता था। लेकिन यूपी आकर न्याय मिला है। वह अत्याचारी था, अंत हो गया।
कृष्णानंद राय हत्या मामले में मुख्तार के वकील दीपक शर्मा का कहना है कि ये बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण घटना है। मीडिया और सरकार का कहना है कि उनकी कार्डियर अरेस्ट से मौत हुई है लेकिन पोस्टमार्टम रिपोर्ट मिलने तक हम कुछ नहीं कह सकते। प्रथमदृष्टया दिल का दौरा मौत की असल वजह नहीं है। दो दिन पहले उनके वकीलों ने याचिका में वकीलों के खिलाफ गंभीर आरोप लगाए थे कि उन्हें धीमा जहर दिया जा रहा है। अब देखना है कि क्या जांच ईमानदारी से की गई या नहीं।
इस बीच भाजपा के सीनियर नेता मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि मुख्तार अंसारी की मौत संवेदनशील मुद्दा है। ऐसे मामलों पर राजनीति नहीं होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि इस मामले पर सरकार पैनी नजर बनाए हुए हैं। नकवी ने कहा कि समाज में किसी भी स्थिति में अपराध का स्थान नहीं है।
पूरे उत्तर प्रदेश में धारा 144 लागू कर दी गई है। बड़ी सभाओं पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। बांदा, मऊ, गाज़ीपुर और वाराणसी जिलों में अतिरिक्त सुरक्षाकर्मी तैनात किए गए हैं।
इससे पहले मुख्तार अंसारी को गुरुवार को ”बेहोशी की हालत” में जिला जेल से बांदा के रानी दुर्गावती मेडिकल कॉलेज लाया गया था। 9 डॉक्टरों की एक टीम ने उनका इलाज किया लेकिन कार्डियक अरेस्ट से उनकी मृत्यु हो गई। मंगलवार को पेट दर्द की शिकायत के बाद मुख्तार अंसारी को करीब 14 घंटे के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
बता दें कि अंसारी का जन्म स्वतंत्रता संग्राम में गहरी जड़ें रखने वाले परिवार में हुआ था। उनके दादा 1927 में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के अध्यक्ष के रूप में कार्यरत थे।निष्कासित होने के बाद कौमी एकता दल (क्यूईडी) बनाने से पहले अंसारी शुरुआत में बहुजन समाज पार्टी से जुड़े थे।