कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने जातीय हिंसा प्रभावित मणिपुर का दौरा नहीं करने को लेकर शनिवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से सवाल किया। एक प्रेस वार्ता के दौरान कांग्रेस प्रमुख ने कहा, “मणिपुर में दुर्भाग्यपूर्ण घटनाएं हुईं; पीएम हर जगह बोलते हैं, फोटो सेशन करते हैं लेकिन उस राज्य का दौरा नहीं करते।’ उन्होंने कहा, ”प्रधानमंत्री लक्षद्वीप तो जा सकते हैं लेकिन मणिपुर नहीं जा सकते।”
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उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि भाजपा विपक्षी नेताओं को धमकाने के लिए ईडी, आईटी विभाग जैसी एजेंसियों का खुलेआम दुरुपयोग कर रही है। उन्होंने कहा, “BJP सरकार खुलेआम ED, CBI, IT का इस्तेमाल कर विपक्ष को डराने-धमकाने का काम कर रही है। यह लोग जब विपक्ष के लोगों को पकड़ते हैं, तो उनके ऊपर कोई भी केस थोप देते हैं । लेकिन जैसे ही वह आदमी BJP में शामिल होता है, उसकी छवि साफ हो जाती है। आखिर ये कहां का न्याय है?”
खड़गे ने कहा कि उन्होंने भारत जोड़ो न्याय यात्रा में भाग लेने के लिए इंडिया ब्लॉक के नेताओं, नागरिक समाज के सदस्यों को आमंत्रित किया है।
उन्होंने नए श्रम कानूनों और आपराधिक कानूनों को लेकर भी सरकार की आलोचना की। खड़गे ने नए कानूनों को ”तानाशाही का संकेत” करार दिया।
खड़गे ने कहा कि उन्हें जनवरी में अयोध्या में राम मंदिर उद्घाटन के लिए निमंत्रण मिला है। उन्होंने कहा कि पार्टी जल्द ही निमंत्रण पर फैसला करेगी।
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इस कार्यक्रम के लिए खड़गे और पूर्व पार्टी प्रमुख सोनिया गांधी को आमंत्रित किया गया है और कांग्रेस ने पहले कहा था कि उनके फैसले से ”सही समय” पर अवगत कराया जाएगा। उनके अलावा लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी को भी समारोह में आमंत्रित किया गया है।
कांग्रेस अध्यक्ष से जब उन अफवाहों के बारे में पूछा गया कि संयोजक पद के लिए बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नाम पर विचार किया जा रहा है, तो खड़गे ने कहा, “यह सवाल (भारत ब्लॉक का संयोजक कौन होगा?) कौन बनेगा करोड़पति जैसा है? अगले 10-15 दिनों में जब हम बैठक करेंगे तो इस पर निर्णय लिया जायेगा। इसकी चिंता मत करो।”