महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री बाबा सिद्दीकी की हत्या की जिम्मेदारी लॉरेंस बिश्नोई गैंग ने ली है। राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) के मुताबिक, 700 शूटरों से संचालित होने वाला यह गिरोह दाऊद इब्राहिम की राह पर चल रहा है। एनआईए ने लॉरेंस बिश्नोई और गोल्डी बरार समेत 16 गैंगस्टरों के खिलाफ कड़े यूएपीए कानून के तहत आरोप पत्र दायर किया है। एनआईए ने अपनी चार्जशीट में लॉरेंस बिश्नोई गैंग की तुलना दाऊद इब्राहिम की डी-कंपनी से की है।
एनआईए की चार्जशीट से पता चला है कि लॉरेंस बिश्नोई और उसके आतंकी सिंडिकेट का अभूतपूर्व तरीके से विस्तार हुआ, ठीक उसी तरह जैसे 90 के दशक में दाऊद इब्राहिम ने छोटे-मोटे अपराधों से शुरुआत करके अपना नेटवर्क स्थापित किया था।
दाऊद इब्राहिम ने मादक पदार्थों की तस्करी, लक्षित हत्याओं, जबरन वसूली रैकेट के माध्यम से अपने नेटवर्क का विस्तार किया और बाद में पाकिस्तानी आतंकवादियों के साथ मिलकर डी-कंपनी बनाई। इसी तरह, बिश्नोई गिरोह ने छोटे-मोटे अपराधों से शुरुआत की, अपना गिरोह बनाया और अब उत्तर भारत पर हावी है।
बिश्नोई गैंग में 700 से ज्यादा शूटर-
लॉरेंस बिश्नोई गिरोह का संचालन सतविंदर सिंह उर्फ गोल्डी बराड़ द्वारा किया जा रहा है, जो कनाडाई पुलिस और भारतीय एजेंसियों द्वारा वांछित है। एनआईए की चार्जशीट से पता चला कि बिश्नोई गैंग में 700 से ज्यादा शूटर हैं, जिनमें से 300 पंजाब से जुड़े हैं।
बिश्नोई और गोल्डी बरार की तस्वीरें फेसबुक, इंस्टाग्राम और यूट्यूब जैसे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर पोस्ट की गई हैं। बिश्नोई की अदालत से लाने-ले जाने की तस्वीरें सोशल मीडिया पर साझा की गई हैं, जिससे युवा लोगों के बीच गिरोह का प्रचार किया जा रहा है।
2020-21 तक बिश्नोई गैंग ने रंगदारी के जरिए करोड़ों रुपये कमाए थे और वह पैसा हवाला के जरिए विदेश भेजा गया था।
इन राज्यों में फैला गिरोह-
एनआईए के मुताबिक लॉरेंस बिश्नोई गैंग कभी पंजाब तक ही सीमित था लेकिन अपने करीबी सहयोगी गोल्डी बराड़ की मदद से लॉरेंस बिश्नोई ने हरियाणा, दिल्ली और राजस्थान में गिरोहों के साथ गठजोड़ किया और एक बड़ा नेटवर्क तैयार किया।
अब, लॉरेंस बिश्नोई गिरोह पंजाब, उत्तर प्रदेश, हरियाणा, महाराष्ट्र, दिल्ली, राजस्थान और झारखंड सहित पूरे उत्तर भारत में फैल गया है। युवाओं को गिरोह में शामिल करने के लिए सोशल मीडिया और कई अन्य माध्यमों का इस्तेमाल किया जाता है।
युवाओं को विदेशी सपनों से लुभाना-
गिरोह युवाओं को कनाडा या उनकी पसंद के किसी देश में ले जाने का लालच देकर भर्ती करता है।
एनआईए के मुताबिक, पाकिस्तान में बैठा खालिस्तानी आतंकवादी हरविंदर सिंह रिंदा पंजाब में लक्षित हत्याओं और आपराधिक गतिविधियों को अंजाम देने के लिए बिश्नोई के शूटरों का इस्तेमाल करता है।