सुप्रीम कोर्ट ने राज्य में एक फैक्ट-फाइंडिंग रिपोर्ट पर मणिपुर पुलिस द्वारा दर्ज दो मामलों में चार पत्रकारों और एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया के सदस्यों को गिरफ्तारी से अंतरिम सुरक्षा प्रदान की। भारत के मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पीठ ने मणिपुर राज्य को नोटिस जारी करते हुए 11 सितंबर तक अंतरिम सुरक्षा प्रदान की। वरिष्ठ अधिवक्ता श्याम दीवान द्वारा तत्काल सुनवाई के लिए इसका उल्लेख करने के बाद मामले की सुनवाई की गई।
The Supreme Court on Wednesday granted interim protection to four members of the Editors Guild of India from the FIRs registered by the Manipur police over a fact-finding report published by them in relation to the ethnic violence in the northeastern state.
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— Live Law (@LiveLawIndia) September 6, 2023
दीवान ने पीठ को बताया कि एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया की फैक्ट-फाइंडिंग टीम के सदस्यों के खिलाफ दो एफआईआर दर्ज की गई हैं। सदस्यों पर हिंसा को बढ़ावा देने का आरोप लगाया गया है।
संक्षिप्त सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने याचिकाकर्ताओं से पूछा कि उन्होंने पहले हाई कोर्ट से संपर्क क्यों नहीं किया?
दीवान ने जवाब देते हुए कहा कि मुख्यमंत्री ने खुद एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया के खिलाफ आरोप लगाए थे।
दीवान ने पीठ को बताया, “फैक्ट-फाइंडिंग समिति में बहुत वरिष्ठ संपादक शामिल थे। वे मणिपुर गए। वे वहां चार दिनों तक रहे। उन्होंने लोगों का व्यापक साक्षात्कार लिया। रिपोर्ट 2 सितंबर को सामने आई।”
इसके बाद, पीठ ने एक नोटिस जारी किया और चार पत्रकारों को अंतरिम सुरक्षा प्रदान की।
एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया के 24 पेज के निष्कर्ष 2 सितंबर को जारी किए गए थे। राज्य में मीडिया रिपोर्टों की जांच के लिए एक फैक्ट-फाइंडिंग टीम को मणिपुर भेजा गया था।
इसके बाद मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह ने कहा था कि उनकी सरकार ने एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया के अध्यक्ष और तीन सदस्यों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की है। उन्होंने ने उन (एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया) पर राज्य में और अधिक झड़पें पैदा करने की कोशिश करने का आरोप लगाया था। उन्होंने कहा, ‘मैंने एडिटर्स गिल्ड के सदस्यों को चेतावनी भी दी है कि अगर वह कुछ करना चाहते हैं तो पहले हिंसाग्रस्त जगहों का दौरा करें और जमीनी हकीकत देखें। सभी समुदायों के प्रतिनिधियों के साथ मुलाकात करें और उसके बाद कोई रिपोर्ट बनाएं। सिर्फ कुछ वर्ग के लोगों से मिलकर किसी परिणाम पर पहुंचना निंदनीय है। राज्य सरकार ने एडिटर्स गिल्ड के सदस्यों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है, जो राज्य में हिंसा भड़काने की कोशिश कर रहे हैं।’
#WATCH | The State government has filed an FIR against the members of the Editors Guild who are trying to create more clashes in the state of Manipur, says CM N Biren Singh. pic.twitter.com/gm2RssgoHL
— ANI (@ANI) September 4, 2023
जिन लोगों पर मामला दर्ज किया गया था उनमें एडिटर्स गिल्ड की अध्यक्ष सीमा मुस्तफा और तीन सदस्य – सीमा गुहा, भारत भूषण और संजय कपूर शामिल थे। गुहा, भूषण और कपूर ने जातीय हिंसा की मीडिया रिपोर्टों का अध्ययन करने के लिए पिछले महीने राज्य का दौरा किया था।