उत्तर प्रदेश के सिद्धार्थनगर जिले में चोरी के संदेह में 10 और 15 साल की उम्र के दो नाबालिग लड़कों को कथित तौर पर पेशाब पीने के लिए मजबूर किया गया और उनके निजी अंगों पर मिर्च पाउडर लगाया गया। सोशल मीडिया पर इस घटना का वायरल हुआ वीडियो नाबालिगों के साथ अमानवीय व्यवहार को दर्शाता है। वीडियो में दिखाया गया है कि कैसे चोरी के शक में दो लड़कों को पेशाब पीने के लिए मजबूर किया गया। फिर लड़कों को कुछ अज्ञात दवा का इंजेक्शन लगाया गया और उनके प्राइवेट पार्ट में मिर्च पाउडर डाली गई।
स्थानीय गुंडों के रूप में पहचाने जाने वाले आरोपियों ने नाबालिगों के प्राइवेट पार्ट में मिर्च पाउडर डालने के बाद उन्हें जबरन पेशाब पीने के लिए मजबूर किया। पुलिस ने कहा कि ये घटना शुक्रवार शाम का है लेकिन घटना के कथित वीडियो वायरल होने के बाद शनिवार को यह मामला प्रकाश में आया।
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (सिद्धार्थनगर) सिद्धार्थ ने कहा, “एक वीडियो वायरल हुआ है जिसमें दो बच्चों के साथ कुछ आपत्तिजनक चीजें करते हुए दिखाया गया। हमने तुरंत वीडियो का संज्ञान लिया और मामला दर्ज किया गया। छह लोगों को गिरफ्तार कर लिया गया है।”
Pee-Gate with a Horrible Twist – Arrests Made as Minors Made Drink Urine in #UP
Suspected thieves, aged 10 & 15, had chili powder applied to their genitals and made drink urine.
Six people were arrested in connection to the case.#UPPolice
📹 © @siddharthnagpol pic.twitter.com/0P8UNpNzUW
— RT_India (@RT_India_news) August 6, 2023
पुलिस ने कहा कि पोल्ट्री दुकान के मालिकों को गुरुवार को दुकान पर आने पर लड़कों पर पैसे चुराने का संदेह हुआ। संबंधित पुलिस स्टेशन के स्टेशन हाउस ऑफिसर (एसएचओ) ने कहा “आरोपियों ने शुक्रवार को उन्हें पकड़ लिया और उनकी पिटाई की और उनके साथ आपत्तिजनक हरकतें कीं। आरोपी और पीड़ित पड़ोसी हैं और एक ही गांव के हैं।”
मामले में आठ लोगों को नामजद किया गया है, जिनमें से दो फरार हैं। पकड़े गए छह लोगों में से चार नाबालिग हैं।
इस मामले में भारतीय दंड संहिता की धारा 34 (सामान्य इरादा), 147 (दंगा), 342 (गलत कारावास), 270 (घातक कार्य जिससे जीवन के लिए खतरनाक बीमारी का संक्रमण फैलने की संभावना हो), 307 (हत्या का प्रयास), 377 (अप्राकृतिक अपराध) और यौन अपराधों के खिलाफ बच्चों के संरक्षण (पोक्सो) अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है।
थाना प्रभारी ने कहा, “दोनों बच्चों में से एक अल्पसंख्यक समुदाय से है… दोनों बच्चों के माता-पिता दिहाड़ी मजदूर हैं… हमने हमला करने वाले बच्चों में से एक की मां से शिकायत मिलने के बाद मामला दर्ज किया है।”
उन्होंने कहा, “पकड़े गए छह लोगों में से दो 18 और 21 साल की उम्र के वयस्क हैं, जबकि अन्य चार नाबालिग हैं। हम दो फरार आरोपियों की उम्र के बारे में निश्चित नहीं हैं। उन्हें जल्द ही पकड़ लिया जाएगा।”